आज पत्रिका में "टॉपिक एक्सपर्ट" में बुंदेली में ...
Thank you #patrika 🙏
Thank you Dear Reshu Jain 🙏
..................................
टाॅपिक एक्सपर्ट
जड़कारे में अपने इते के पल्ली प्रेम की का कई जाए !
- डॉ (सुश्री) शरद सिंह
अपने इते पल्ली से कछू ज्यादा प्रेम दिखात आए। अब आप कैहो के जड़कारे में पल्ली से प्रेम ने हुइए, सो कब हुइए। हऔ! हमने मान लई बात। जड़कारे में पल्ली ओढ़ी जात आए। बाकी अपने इते तो बारो मईना पल्ली ओढ़ी जात आए। अब ई बारे में का कैहो? जेई से सो कहनात बन गई ‘‘पल्ली ओढ़ के सोबे’’ वारी। हमें तो लगत आए के जे कहनात इते अपन ओरन खों देख के ई बनी आए। काय से के इते कछू के कछू हो जाए मनांे अपन सो पल्ली ओढ़ के सोत रैत आएं। कभऊं भूले-भटके एकाध दिनां पल्ली से निकरे सो कछू मंगताई दिखाई औ फेर जा घुसे पल्ली में। जो हम झूठी कै रए हों सो बोलो!
इते अच्छो-भलो शहर दो टुकड़ा में बांट दओ गओ औ हम पल्ली ओढ़ के सोए रए। एक हीसां में विकास हो रओ औ दूसरे हींसा में नीकास लो को ढंग-ढार नइयां। कैबे में बुरो लगत आए, मनो कोनऊं खों कैने तो परहेई। खैर, बा छोड़ो, अभई की लेओ। अपन ओंरे मना रए गौर-उत्सव। वा बी सात दिनां कों। मनो बा मांग कां गई जो चिचियां-चिचियां के करी रई के हमाए गौर बब्बा खों ‘‘भारत रत्न’’ दओ जाए! जे समारोह के टेम पे कोनऊं-कोनऊं को मनो याद आ बी जाए सो समारोह खतम होतई साथ वोई गद्दा, वोई पल्ली। सबरे बिसर जैहें के हमने का मांग करी रई। गौर बब्बा बी सोचत हुइएं के हमने इन ओरन खों जागरूक करबे के लाने इते यूनीवर्सिटी खोली, मनो जे सो पल्ली प्रेमी के पल्ली प्रेमी ई बने रए गए। सो, भैया-बैन हरों पल्ली से निकरो, इते के लाने कछू अच्छो करो-धरो!
-------------------------
#डॉसुश्रीशरदसिंह #बुंदेलीलेख #DrMissSharadSingh #पत्रिका #patrika #rajsthanpatrika #topicexpert #टॉपिकएक्सपर्ट
#बुंदेली #सागर #बुंदेलीकॉलम
No comments:
Post a Comment